वरिष्ठ पत्रकार श्रीकांत प्रत्यूष ने धारण किया वैराग्य, बनाए गए अयोध्या स्थित एक मंदिर के महंत

अयोध्याः पत्रकारिता छोड़ सियासत में उतरने वाले बहुत से पत्रकारों को आप जानते होंगे, लेकिन वैराग्य धारण करने वाले शायद ही कभी देखा या सुना होगा। बिहार से ताल्लुक़ रखने वाले देश के वरिष्ठ पत्रकार श्रीकांत प्रत्यूष (Shrikant Pratyush) ने अब पत्रकारिता छोड़ वैराग्य धारण कर लिया है। श्रीकांत अयोध्या में 150 साल पुराने बिहार भवन प्रिया प्रीतम दास कुंज मंदिर के नये महंत बनाए गए हैं। मंगवार को बयोवृद्ध महंत गुरुदेव श्री परमानंद दास ने कंठी चादर और तिलक लगाकर पूरे विधि-विधान से विधिक तौर पर मंदिर के महंत पद पर आसीन किया।

इस मौके पर News Stump से अपनी खास बातचित में श्रीकांत प्रत्यूष ने कहा कि ईश्वर की सरण और संतों के संगत में ही परम सुख है, शेष सब कुछ मिथ्या है। उन्होंने कहा कि प्रकृति पर भरोसा रखिए, उसमें अमंगल का कोई प्रावधान नहीं है। जो कुछ आपके साथ हो रहा है उस पर भरोसा करिए मंगल ही मंगल होगा, कभी आपका अमंगल होगा ही नहीं।

प्रकृति में अमंगल की व्यवस्था नहीं- महंत श्रीकांत प्रत्यूष

अन्हों ने कहा कि अभी जो कुछ आपके विपरीत दिख रही हैं, लग रहा है कि यह अमंगल है, अशुभ है उसका परिणाम आगे चलकर शुभ होगा, बस इश्वर पर भरोसा रखिए। श्रीकांत का मानना है कि प्रकृति में जब अमंगल की व्यवस्था ही नहीं है, तो अमंगल होगा कैसे? अगर इस बात को आप आत्मसात कर लेंगे तो भय खत्म हो जाएगा और भय खत्म हो गया तो आप दुनिया को जीत लेंगे। उनहोंने बताया कि उनके गुरू ने उनके लिए महंथई समारोह आयोजित किया था। समारोह में अयोध्या समेत देश भर कई संत और महंथ आए थे, जिन्होंने उन्हें आशीर्वाद दिया है कि वे इतने सक्षम बने कि सबकी उम्मीदों पर खरा उतरें।

पत्रकार की भूमिका में श्रीकांत प्रत्यूष

करते रहेंगे पत्रकारिता- श्रीकांत

पत्रकारिता को लेकर उन्होंने कहा कि वह उनका पैशन है, साधु-संत भी पढ़ते-लिखते रहते हैं, लिहाजा वह पत्रकारिता करते रहेंगे। उन्हों ने आत्मविश्वास से भरे लहजे में कहा कि जिस तरह से वो टॉप लेवल की पत्रकारिता करते रहे हैं, वैसे ही इस क्षेत्र में भी पूरी निष्ठा से अपना योगदान देंगे।

बिहार के सीएम नीतीश कुमार और मंत्री विजय कुमार चौधरी के साथ श्रीकांत प्रत्यूष

पत्रकारिता के क्षेत्र में भी अव्वल रहे हैं श्रीकांत

आपको बता दें, श्रीकांत प्रत्यूष बिहार में टीवी पत्रकारिता (Bihar’s First TV Journalist) के सबसे पहले पत्रकार थे। उन्होंने अपनी पहली पारी Zee News के साथ शुरू की थी। यहां दो दशक तक वे बिहार-झारखंड के ब्यूरो प्रमुख पद पर तैनात रहे। Zee News के बाद वे Naxatra News और फिर Jantantra Tv में स्थानीय संपादक (बिहार-झारखंड) का कार्यभार संभाला। उन्हों ने नव बिहार, सन्मार्ग और कई दूसरे अखबारों का भी संचालन किया। उनके संरक्षण में बिहार के स्थानीय न्यूज़ चैनल PTN News ने कई पत्रकारों को पत्रकारिता का पाठ पढ़ाया। अभी फिलहाल Digital media Platform City Post Live सक्रीय रूप से अपनी उस्थिति बनाए हुए है। श्रीकांत की कार्यशैली और उनके कई रिपोर्ट्स आज भी पत्रकारिता में मिशाल की तरह कायम हैं।

पत्रकार मंडली के साथ बीच में श्रीकांत प्रत्यूष

बड़े भाई गुप्तेश्वर पाण्डेय रहे हैं बिहार के DGP

श्रीकांत प्रत्यूष बक्सर जिले के इटाढ़ी थाना अंतर्गत गेरुआबांध गांव के रहने वाले हैं। उनके पिता जगदीश पाण्डेय एक मध्यमवर्गीय किसान थे। तीन भाईयों में सबसे छोटे श्रीकांत प्रत्यूष लंबे वक्त तक जी न्यूज (Zee News) के साथ कार्यरत रहे हैं। उनके बड़े भाई गुप्तेश्वर पाण्डेय बिहार पुलिस के DGP रहे हैं और मंझले भाई शिक्षा के क्षेत्र में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। बात पारिवारिक जिम्मेदारियों की करें तो श्रीकांत के परिवार में वृद्ध माँ समेत पत्नी, दो बेटे और एक बेटी हैं।

बड़े भाई और बिहार के पूर्व डीजीपी गुप्तेश्वर पाण्डेय के साथ श्रीकांत प्रत्यूष

क्या कहते हैं श्रीकांत को जानने वाले ?

श्रीकांत को बिहार भवन प्रिया प्रीतम दास कुंज मंदिर का महंत बनाए जाने के बाद कई पत्रकार मित्रों समेत उनके जानने वालों ने अपनी शुभकामनाएं प्रेषित की हैं। उनको जानने वाले लोग बताते हैं कि श्रीकांत विलक्षण प्रतिभा के धनी हैं। वे किसी काम को पूरी निष्ठा और समर्पण के साथ अंजाम देते हैं। पत्रकारिता के दिनों को याद करते हुए उनके सहकर्मी और मित्र बताते हैं कि कैसे कठिन से कठिन परिस्थितियों में भी श्रीकांत ख़बरों की तह तक जाते थे और वस्तुस्थिति को सामने लाते थे। मित्रों ने उम्मीद जताई कि श्रीकांत इस क्षेत्र में भी अपना मिसाल कायम करेंगे और समाज को एक नई दिशा  देंगे।

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