Border violence: कांग्रेस ने भाजपा को घेरा, कहा- फेल है नॉर्थ ईस्ट डेमोक्रेटिक अलायंस

नई दिल्लीः पांच नागरिकों के मारे जाने के एक दिन बाद कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने केंद्र से असम और मेघालय के बीच सीमा विवाद (Border violence) को सुलझाने का आग्रह किया है। खड़गे कहा कि यह सही समय है जब केंद्रीय गृह मंत्री दो राज्यों के बीच सीमा विवाद को सुलझाएं, इससे पहले कि चीजें और अधिक शत्रुतापूर्ण हो जाएं।

मेघायल में असम पुलिस की गोली से 6 लोगों के मारे जाने के एक दिन बाद बुधवार को खड़गे ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के नॉर्थ ईस्ट डेमोक्रेटिक अलायंस (NEDA) इस क्षेत्र को विफल हो गई है।

नॉर्थ ईस्ट डेमोक्रेटिक अलायंस (NEDA) का गठन 2016 में किया गया था और इसमें बीजेपी और असम, अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, मेघालय, मिजोरम, त्रिपुरा और सिक्किम के क्षेत्रीय दलों का गठबंधन शामिल है।

खड़गे ने ट्वीट किया, “असम-मेघालय सीमा पर हुई दुर्भाग्यपूर्ण घटना से बहुत दुखी हूं।” “छह कीमती जानें चली गईं। यह सही समय है जब केंद्रीय गृह मंत्री दो राज्यों के बीच सीमा विवाद को सुलझाएं, इससे पहले कि चीजें और अधिक शत्रुतापूर्ण हो जाएं।”

खड़गे ने यह भी कहा कि असम के पूर्व मुख्यमंत्री ने कई उग्रवादी समूहों को हिंसा छोड़ने और मुख्यधारा में शामिल होने के लिए राजी करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

असम और मेघालय दशकों से सीमा विवाद में उलझे हुए हैं और उन्हें सुलझाने के लिए बातचीत कर रहे हैं। दोनों राज्यों के बीच क्षेत्रीय विवाद तब शुरू हुआ जब 21 जनवरी, 1972 को असम पुनर्गठन अधिनियम, 1971 के तहत मेघालय को असम से अलग किया गया। मेघालय द्वारा कानून को चुनौती दिए जाने के बाद 12 स्थानों पर विवाद उत्पन्न हुए। असम एकमात्र ऐसा राज्य है जिसके साथ मेघालय आंतरिक सीमा साझा करता है।

बता दें,  मेघालय के पश्चिम जयंतिया हिल्स जिले के मुकरोह गांव में मंगलवार को हिंसा भड़क गई, जिसमें छह लोगों की मौत हो गई थी। मारे गए लोगों में से पांच मेघालय के निवासी थे, जबकि एक असम फॉरेस्ट गार्ड का अधिकारी था।

नेशनल पीपुल्स पार्टी के नेता ने कहा था कि असम पुलिस और असम फॉरेस्ट गार्ड ने मेघालय के मुकरोह गांव में हिरासत में लेने से पहले अपने राज्य से लकड़ी ले जा रहे एक ट्रक का पीछा किया था।

हालांकि, असम के पश्चिम कार्बी आंगलोंग जिले के पुलिस अधीक्षक इमदाद अली ने एक समाचार संस्थान को बताया कि अवैध लकड़ी ले जा रहे ट्रक के भागने की कोशिश करने पर वन रक्षकों ने उस पर गोलियां चलाईं। अली ने कहा कि हथियारों से लैस ग्रामीण पुलिस से ट्रक में सवार लोगों को छोड़ने की मांग कर रहे थे।

भाजपा शासित असम के अधिकारियों ने भी दावा किया है कि यह गांव उनके अधिकार क्षेत्र में आता है और गोलीबारी में केवल चार लोगों की मौत हुई है। असम सरकार ने मंगलवार शाम को स्थानीय पुलिस स्टेशन के प्रभारी अधिकारी और पश्चिम कार्बी आंगलोंग जिले के पुलिस अधीक्षक को निलंबित कर दिया।

इस बीच, संगमा के नेतृत्व में मेघालय के मंत्रियों का एक प्रतिनिधिमंडल 24 नवंबर को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात करेगा और हिंसा की केंद्रीय जांच ब्यूरो या राष्ट्रीय जांच एजेंसी से जांच कराने की मांग करेगा।

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