अब आसान हुआ यूके के बाजार में भारतीय व्यापार को बढ़ाना- यश दुबल

नई दिल्लीः ब्रिटेन में सैकड़ों भारतीय फर्मों को सैटेलाइट ऑफिस खोलने में मदद करने वाले एक शीर्ष कानून विशेषज्ञ यश दुबल ने कहा है कि यूके के बाजार में भारतीय व्यापार को बढ़ाना अब आसान हो गया है। उन्होंने कहा कि भारतीय तकनीकि फर्मों की यूके के टेक्नोलॉजी सेक्टर में काफी मांग हैं। दुबल के मुताबिक यूके में भारतीय व्यापार तेजी से बढ़ रहे हैं। आंकड़े बताते हैं कि महामारी के दौरान भी कुछ टेक और टेलिकॉम बिजनेस ने यूके में विकास के मामले में ट्रिपल डिजीट को भी पार कर लिया है। उन्होंने कहा कि ज्यादा से ज्यादा भारतीय टेक फर्म को यूके के बेहतरीन आर्थिक माहौल का फायदा उठाना चाहिए। उन्होंने कहा कि यूरोपियन यूनियन से अलग होने के बाद वहां बेहतर आर्थिक माहौल बना है।

उन्होंने कहा कि वैसी टेक और टेलिकॉम कंपनियां जो यूके में अपना विस्तार करना चाहती हैं वो इस तथ्य से समझ सकती हैं कि यूनाइटेड किंगडम के लघु व्यापार में निवेश पिछले साल £8.8bn था, इसमें 9 फीसदी का इजाफा हुआ था। यह ट्रेंड साल 2021 के शुरुआती तीन महीनों तक जारी रहा था। महामारी के दौरान निवेशकों की भूख नए वेंचर्स में पैसे लगाने की थी जो विदेशी व्यापारियों के लिए एक बेहतर मौका है।

भारतीय व्यापारियों के लिए यूके में कार्यालय खोलना हुआ आसान

यूके आधारित इमिग्रेशन और वीजा एक्सपर्ट और ए वाई एंड जे सॉलिसिटर्स के निदेशक यश दुबल ने कहा, ‘यूके के नए इमिग्रेशन कानून की वजह से अब भारतीय व्यापारियों के लिए वहां कार्यालय खोलना आसान हो गया है। इसके अलावा भारत के साथ फ्री ट्रेड करने की यूके की मजबूत मंशा यह बताती है कि हम इंटर-नेशनल कॉमर्स के एक स्वर्णिम युग में हैं। दोनों देशों के बीच करीबी ऐतिहासिक और सांस्कृतिक ताल्लुकात का मतलब यह है कि यूके में पहले से भारतीय व्यापार स्थापित है और उनका बेहतरीन विकास भी हो रहा है।

भारतीय टेक फर्म के लिए उत्साहजनक रहा 2020

बिजनेस कंस्लटेन्ट ग्रांट थ्रॉन्टन और कन्फेडेरेशन ऑफ इंडियन इंडस्ट्री की एक संयुक्त रिपोर्ट बताती है कि साल 2020 भारतीय टेक फर्म के लिए बेहद उत्साहजनक रहा है। यह पता चला है कि रूट मोबाइल यूके ने 202 फीसदी ग्रोथ हासिल की है, धूट ट्रांसमिशन (यूके) लिमिटेड ने 187 फीसदी और इनसेसेंट टेक्नोलॉजी ने 81 फीसदी का ग्रोथ हासिल किया है।

रिपोर्ट के ऑथर्स ने बताया है कि टेक्स और टेलिकॉम सेक्टर भारतीय व्यापार के लिहाज से काफी उपयुक्त हैं। उन्होंने कहा है कि ‘हमें उम्मीद है कि टेक्नोलॉजी और टेलिकॉम सेक्टर्स अभी कई सालों तक राज करेंगे। यश दुबल ने बताया है कि यूके के नए वीजा और इमिग्रेशन नियमों ने भी भारतीय व्यापारियों के लिए रास्ता सुगम कर दिया है ताकि वो यहां आकर सैटेलाइट ऑफिस और सब्सिडरीज स्थापित कर सकें। उन्होंने कहा कि यूके का वीजा उन भारतीय व्यापारियों के लिए बेहतरीन विकल्प है जो यूके के बेहतर माहौल में आकर कुछ नया व्यापार करना चाहते हैं। यह वीजा ब्रिटेन की पूर्ण नागरिकता पाने का मार्ग भी प्रशस्त करता है।

भारतीय निवेशकों ने यूके में निवेश करने में रूचि दिखाई

साल 2020 के दौरान यूके के यूरोपियन यूनियन से बाहर आने के दौरान अस्थिरता का माहौल होने के बावजूद भारतीय निवेशकों ने यूके में निवेश करने में रूचि दिखाई थी। यूके भारत के साथ बिजनेस डील का लक्ष्य रखता है हालांकि, कोरोना की वजह इस लक्ष्य को हासिल करने में थोड़ी मुश्किल आई थी। लेकिन अहम समय में यूके के सरकारी अधिकारी लगातार अपने भारतीय समकक्षों के टच में रहे जिसकी वजह से बीते कुछ सालों में दोनों देशों के बीच कई बिजनेस पार्टनरशिप भी हुए।

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