DAV कपिलदेव के प्राचार्य पर पासवा का एक्शन, शैक्षणिक कार्याें पर लगा आजीवन प्रतिबंध

रांची: Private School and Children Welfare Association ने DAV Kapildev के प्राचार्य एमके सिन्हा को शैक्षणिक कार्याें से आजीवन प्रतिबंधित करने का निर्णय लिया है। प्राचार्य के खिलाफ यह निर्णय शनिवार को रांची के खेल गांव अंतर्गत महुआ टोली स्थित सिटी मॉनटेसरी स्कूल में हुई पासवा बैठक में लिया गया। प्राचार्य एमके सिन्हा पर एक नर्स के साथ यौनशोषण का आरोप लगा है। बैठक की अध्यक्षता पासवा के प्रदेश अध्यक्ष आलोक कुमार दूबे ने की, जिसमें संगठन से जुड़े कई अन्य पदाधिकारियों ने हिस्सा लिया।

एमके सिन्हा पर हुई कार्रवाई के बाबत पासवा के प्रदेश अध्यक्ष आलोक कुमार दूबे ने कहा कि ऐसे लोगों के हाथो में शिक्षा की बागडोर कैसे रह सकती है, जो खुद भटके हुए हैं। उन्होंने प्राचार्य के कृत्य की भतर्सना करते हुए कहा कि यह शर्मनाक है और इसकी जितनी भी निंदा की जाय वो कम है। ऐसे लोग समाज के लिए कोढ़ हैं।

इसके अलावें पासवा की बैठक में कई अन्य मुदों पर भी विचार विमर्श किया गया, जिसमें राज्यभर के 10वीं और 12वीं के बच्चों के लिए छात्र प्रतिभा सम्मान समारोह और 5 दिवसीय बाल महोत्स्व आयोजित करने का निर्णय लिया गया। आलोक दूबे ने कहा देश में अबतक का सबसे बड़ा छात्र प्रतिभा सम्मान समारोह आयोजित होगा एवं बाल महोत्सव में पूरे देश के प्रतिनिधि शामिल होंगे।

बैठक में पासवा उपाध्यक्ष अरविन्द कुमार ने विषय वस्तु प्रवेश करते हुए संगठन की मजबूती एवं विद्यालय के संबद्धता (Affiliation) में आ रहे अड़चन को दूर करने का सुझाव मांगा। अरविन्द कुमार ने कहा पूर्ववर्ती रघुवर सरकार ने पठन पाठन को पूरी तरह से तबाह और बर्बाद करके छोड़ दिया है, लेकिन हमारे मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन, वित्त मंत्री डा.रामेश्वर उरांव,शिक्षा मंत्री जगन्नाथ महतो एवं पासवा अध्यक्ष आलोक दूबे के नेतृत्व में निजी स्कूल बच्चों को शिक्षित कर एक नई ऊंचाइयों को हासिल करेगा।

बैठक का संचालन करते हुए रांची महानगर पासवा अध्यक्ष डा.सुषमा केरकेट्टा ने कहा कि पासवा अध्यक्ष आलोक कुमार दूबे निजी स्कूलों के लिए मशीहा बनकर आये हैं जिन्होंने सरकार के साथ सौहार्दपूर्ण वातावरण में बातचीत के माध्यम से पठन पाठन को सुचारू रूप से संचालित किया।

बैठक में उपस्थित निजी विद्यालय संचालकों ने अपनी बात रखी। संचालक रणधीर कौशिक ने विद्यालय की मान्यता दिलाने के लिए एकजुट होने की आवश्यकता पर बल दिया। वहीं राजन कुमार ने संगठन की मजबूती के लिए प्रदेश अध्यक्ष आलोक कुमार दूबे को मजबूती प्रदान करने की बात कही।

मनोज कुमार भट्ट ने कहा कि मान्यता नहीं रहने के कारण उन्हें हर समय डर लगा रहा है और अफसर भी डराने-धमकाने का काम करते है, इसलिए संगठन को मजबूत करना चाहिए। इस मौके पर सत्येंद्र कुमार दूबे ने कहा कि सभी स्कूल अपनी-अपनी समस्याओं से जूझ रहे हैं और सभी के समक्ष कई प्रकार के भयादोहन भी किए जाते हैं,जिसपर ध्यान देने की जरुरत है। संचालक जे.एन. सिंह ने बताया कि अभी स्कूल की नियमावली को सभी लोग नहीं जानते है, इसलिए कई कठिनाईयों का सामना करना पड़ा है।राशीद अंसारी ने कहा कि स्कूल खोलने के बाद कई लोग निरूत्साह हो गये, पहले जैसा समय नहीं दे रहे है, इसलिए सभी को अधिक से अधिक संख्या में जुड़ कर मुख्यमंत्री, शिक्षा मंत्री, सचिव और अन्य अधिकारियों से मिलना चाहिए। बैठक में आलोक कुमार पाण्डेय, आरती सिंह,सुबोजित अधिकारी,मनोज कुमार,यशवंत कुमार सिन्हा,राजन कुमार और अजय कुमार ने भी अपनी बात रखी।

बैठक के अंत में अध्यक्षीय भाषण में आलोक दूबे ने कहा कि वर्तमान शिक्षा मंत्री जगन्नाथ महतो झारखंड में शिक्षा व्यवस्था सुदृढ़ करने के लिए कटिबद्ध हैं और लगातार उनका हर कदम पठन पाठन को एक नई दिशा दे रहा है। सरकारी स्कूल हों या फिर निजी सबके हितों की रक्षा करने वाले जगन्नाथ महतो की पासवा सराहना करती है।उन्होंने सभी वक्ताओं पर सहमति जताई कि वर्तमान सरकार के रहते हुए निजी स्कूलों की सभी अड़चनें दूर होंगी।

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