नई दिल्लीः वर्षों के इंतजार और की गहन तैयारी के बाद भारत में आम उपभोक्ताओं के लिए 5G सेवाओं की शुरुआत हो गई। 5G सेवाओं की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार सुबह 10 बजे नई दिल्ली के प्रगति मैदान में की। पहले बैच में यह सेवा देश के 13 शहरों के साथ चरणबद्ध तरीके से रोल आउट किया जाएगा। इन शहरों में अहमदाबाद, बेंगलुरु, चंडीगढ़, चेन्नई, दिल्ली, गांधीनगर, गुरुग्राम, हैदराबाद, जामनगर, कोलकाता, लखनऊ, मुंबई और पुणे शामिल हैं।
हाल ही में, 5G स्पेक्ट्रम की नीलामी सफलतापूर्वक संपन्न की गई थी और दूरसंचार सेवा प्रदाताओं को 1,50,173 करोड़ रुपये के सकल राजस्व के साथ 51,236 मेगाहर्ट्ज आवंटित किया गया था। नीलामी ने एक मजबूत 5G इको-सिस्टम तैयार करने की आवश्यकता पर जोर दिया था, ताकि आईओटी, एम2एम, एआई, एज कंप्यूटिंग, रोबोटिक्स आदि से जुड़े इसके इस्तेमाल से संबंधित जरूरतों को पूरा कर सके।
उम्मीद जताई जा रही है कि 5G Technology से देश नए आर्थिक अवसर और सामाजिक लाभ प्रदान कर सकता है और इसे भारतीय समाज के लिए एक परिवर्तनकारी शक्ति बनने की क्षमता प्रदान कर सकता है। यह देश को विकास की पारंपरिक बाधाओं को दूर करने, स्टार्टअप्स और व्यावसायिक उद्यमों द्वारा नवाचारों को बढ़ावा देने के साथ-साथ ‘डिजिटल इंडिया’ के दृष्टिकोण को आगे बढ़ाने में मदद करेगा। भारत पर 5G का कुल मिलाकर आर्थिक प्रभाव 2035 तक 450 बिलियन डॉलर तक पहुंचने की उम्मीद है।
दूरसंचार विभाग ने अगस्त 2022 में राइट ऑफ वे (ROW) नियम 2016 में संशोधन किया है, जिसमें आरओडब्ल्यू की स्वीकृतियों के लिए शुल्क को उचित बनाया गया है और स्ट्रीट फर्नीचर पर 5G छोटे सेल और ऑप्टिकल फाइबर केबल की स्थापना के लिए आरओडब्ल्यू शुल्क की एक सीमा तय की गई है।
दूरसंचार विभाग ने 2018 में प्रौद्योगिकी विकसित करने के लिए IIT, भारतीय विज्ञान संस्थान बेंगलुरु और समीर (SMEER) की मदद से 5G टेस्टेड की स्थापना की है। स्टार्टअप उद्योगों द्वारा इस्तेमाल को बढ़ाने के लिए 2020 में एक 5G हैकथॉन शुरू किया गया था और इससे नवीन उत्पादों को बढ़ावा मिला है। 5G के इस्तेमाल के मामलों पर एक अंतर-मंत्रालयी समिति 2021 से 12 केंद्रीय मंत्रालयों के समन्वय से कार्य कर रही है, जिससे 5G यूज-केस प्रयोगशालाओं की स्थापना की जा सके।
5G हैंडसेट उपलब्ध कराने के लिए 5G इको-सिस्टम को सक्षम करने के लिए उद्योग के साथ परामर्श आयोजित किया गया है। मुंबई में निवेशकों, बैंकरों और उद्योग के साथ 5G व्यापार के अवसरों पर और सरकार द्वारा प्रमुख हस्तक्षेपों की पहचान करने के लिए एक गोलमेज सम्मेलन आयोजित किया गया था।
सी-डॉट ने एक स्वदेशी 5G नॉन-स्टैंड अलोन (NSA) कोर विकसित किया है। सी-डॉट स्थानीय उद्योग और स्टार्ट-अप के सहयोग से 5G रेडियो एक्सेस नेटवर्क (RAN) भी विकसित कर रहा है। सी-डॉट ने टीसीएस और तेजस नेटवर्क के सहयोग से अपने 4जी कोर का पहले ही सफलतापूर्वक परीक्षण कर लिया है।
ये सभी प्रधानमंत्री के “जय अनुसंधान” के आह्वान को पूरा करने में मदद करेंगे। ये सभी प्रयास भारत के विनिर्माण और दूरसंचार इको-सिस्टम के लिए गेम-चेंजर हैं, जो घरेलू 5G एंटरप्राइज कैरियर ग्रेड स्टैक के साथ-साथ अभिनव प्रभावशाली 5G यूज-केस के लिए अग्रणी हैं।
WATCH | Prime Minister @narendramodi tries his hands on virtual wheels at the exhibition put up at Pragati Maidan before the launch of 5G services in the country. pic.twitter.com/zpbHW9OiOU
— PB-SHABD (@PBSHABD) October 1, 2022