नई दिल्लीः कोरोना संकट के कारण जारी लॉकडाउन के बीच 25 मई से शुरू हुई घरेलू विमान सेवाओं के संक्रमण मुक्त परिचालन पर सवाल उठने लगे हैं। कोविड-19 के मद्देनज़र तमाम एहतिहाती व्यस्था के बीच एक तिहाई क्षमता के साथ शुरू हुई हवाई यात्राओंं में पहले ही दिन से कोरोना वायरस के केस सामने आने लगे हैं। एक रिपोर्ट के मुताबिक घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय दोनों उड़ानों को मिलाकर अब तक 7 उड़ानों में 17 कोरोना पॉजिटिव केस पाए चुके हैं।
महज तीन दिन में इंडिगो की चार उड़ानों में जहां 12 कोरोना संक्रमित मरीज पाए गए हैं, वहीं स्पाइस जेट की एक ही उड़ान में 2 कोरोना संक्रमित यात्री मिले हैं। एलायंस एयर में भी एक संक्रमित के पाए जाने की पुष्टी हुई, जबकि एयर इंडिया के दो क्रू मेंबर के भी कोरोना वायरस से संक्रमित होने की बात सामने आई है।
इधर करीब दो महीने बाद उड़ानों के शुरू होने पर हवाई यात्राओं को लेकर यात्रियों में उत्साह तो दिख रहा है, लेकिन अब ऐसे मामलों के सामने आने के बाद उनके मन में डर भी है घर कर गया है। कई लोग अब भी हवाई योत्राओं को लेकर सहज नहीं हैं और परहेज कर रहे हैं।
आपको बता दें, देश में लंबी अवधी के लॉकडाउन के बीच 25 मई से घरेलू उड़ान सेवाओं को बहाल किया गया है। इससे पहले एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया और विभिन्न एयर लाइनों ने ये दावा किया था कि यात्रियों को सुरक्षित रखने के लिए तमाम एहतिहात और सुरक्षा इंतजाम चाक-चौबंद हैं।
यात्रियों के जारी गाइडलाइंस के मुताबिक यात्रा शुरू होने से 2 घंटे पहले यात्रियों को एयरपोर्ट पहुंचना है। एयरपोर्ट टर्मिनल में केवल वही यात्री एंट्री ले पा रहे हैं जिनकी फ्लाइट 4 घंटे बाद या उससे कम समय के भीतर है। वही डॉमेस्टिक फ्लाइट लेने वाले यात्रियों को सिर्फ ऑनलाइन चेक-इन यानी वेब चेक-इन की ही सुविधा मिल रही है।