नई दिल्लीः केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री मनसुख मंडाविया ने केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री डॉ. भारती प्रवीण पवार की उपस्थिति में मंगलवार को AIIMS देवघर में एक साथ कई सुविधाओं का उद्घाटन किया। इन सुविधाओं में आयुष भवन और रैन बसेरा के अलावें आयुष भवन में संस्थान की ओपीडी सेवाएं शामिल हैं। AIIMS देवघर की आधारशिला प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा 25 मई 2018 को रखी गई थी।
AIIMS देवघर की ओपीडी सुविधाओं में चिकित्सा और इसकी संबद्ध विशेषताएं सामान्य चिकित्सा, पल्मोनोलॉजी (टीबी और श्वसन रोग), मनोरोग, त्वचाविज्ञान (त्वचा), सर्जिकल, सामान्य सर्जरी, हड्डी रोग, ईएनटी, नेत्र विज्ञान, बाल रोग- नवजात और बच्चों का टीकाकरण, प्रसूति एवं स्त्री रोग, दंत चिकित्सा, विकृति विज्ञान और सूक्ष्म जीव विज्ञान, रेडियोलॉजी आदि शामिल हैं।
कार्यक्रम में अपनी खुशी व्यक्त करते हुए मंडाविया ने कहा कि अब लोगों को देवघर में सर्वोत्तम चिकित्सा सुविधाएं मिलेगी। उन्होंने कहा कि ओपीडी सेवाओं के साथ, दूर-दराज के लोगों के लिए रैन बसेरा में रहने और अपना इलाज कराने की सुविधा से पूरे झारखंड राज्य के लोगों को मदद मिलेगी। संस्थान न केवल देवघर के 15 लाख निवासियों बल्कि झारखंड के 3.19 करोड़ लोगों की भी चिकित्सा जरूरतों को पूरा करेगा।
मनसुख मंडाविया ने कहा कि केंद्र ने कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में झारखंड की हर संभव मदद की है। उन्होंने PMSSY को लागू करने के केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के प्रयासों के मार्गदर्शक सिद्धांत के रूप में दीनदयाल उपाध्याय द्वारा प्रतिपादित समाज में अंतिम नागरिक की सेवा करने की ‘अंत्योदय’ की अवधारणा का आह्वान किया।उन्होंने यह भी कहा कि भोपाल, भुवनेश्वर, रायपुर, पटना, जोधपुर और ऋषिकेश के छह एम्स अब पूरी तरह क्रियाशील हैं।
एम्स देवघर के पूरे समुदाय को बधाई देते हुए केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री डॉ. भारती प्रवीण पवार ने कहा, “केंद्र सरकार ने 30 जनवरी 2020 को एक गजट अधिसूचना द्वारा झारखंड के देवघर में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान की स्थापना की है। यह जल्द ही 750 बिस्तरों वाला अस्पताल (30 आयुष बिस्तरों सहित) होगा और इसमें 100 एमबीबीएस सीटें और 60 नर्सिंग सीटें होंगी। उन्होंने यह भी कहा कि एम्स देवघर स्वास्थ्य और कल्याण में सरकार के निवेश का सबसे अच्छा उदाहरण है।