जाड़े में सीने का दर्द: गैस और हार्ट अटैक में कैसे करें फर्क? बता रहे हैं डॉ. दिवाकर तेजस्वी

अभय पाण्डेय

पटनाः ठंड के मौसम में सीने में दर्द को हल्के में लेने की प्रवृत्ति जानलेवा साबित हो सकती है। Public Awareness for Healthful Approach for Living (पहल) के चिकित्सा निदेशक एवं वरिष्ठ फिजिशियन डॉ. दिवाकर तेजस्वी ने जनता को आगाह करते हुए कहा कि अक्सर लोग गैस और हार्ट अटैक के दर्द में फर्क नहीं कर पाते, जिससे समय पर सही इलाज नहीं मिल पाता है और गंभीर परिणाम सामने आ सकते हैं।

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दिल की बीमारियाँ दुनिया भर में मौत का सबसे बड़ा कारण- WHO

यह चेतावनी तब आई है जब विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार हृदय और रक्त वाहिकाओं से जुड़ी बीमारियाँ (Cardiovascular Diseases – CVDs) विश्व स्तर पर मौत का प्रमुख कारण बनी हुई हैं। 2022 में अनुमानित 19.8 मिलियन लोगों की मौत CVDs के कारण हुई, जिसमें से लगभग 85% मौतें हार्ट अटैक और स्ट्रोक के कारण थीं।

गैस और हार्ट अटैक के दर्द में क्या है अंतर, कैसे करें पहचान ?

  • गैस का दर्द

सीने में जलन या चुभन जैसा, भोजन के बाद बढ़ सकता है और डकार/उल्टी से राहत मिल सकती है।

  • हार्ट अटैक का दर्द

सीने में दबाव, भारीपन या जकड़न, जो बाएं हाथ, कंधा, गर्दन या पीठ तक फैल सकता है। साथ में ठंडा पसीना, सांस फूलना, बेचैनी, मतली या चक्कर जैसे लक्षण भी हो सकते हैं।

डॉ. तेजस्वी ने कहा कि सीने का दर्द यदि BP या पल्स में असामान्य बदलाव के साथ हो तो उसे गैस या साधारण समस्या मानकर नज़रअंदाज़ न करें।

ठंड के मौसम में क्यों बढ़ता है दिल का जोखिम?

ठंड में शरीर की रक्त वाहिकाएँ सिकुड़ती हैं, जिससे ब्लड प्रेशर बढ़ता है और दिल पर अधिक दबाव पड़ता है। शोध बताते हैं कि ठंडे मौसम या अत्यधिक ठंडे दिनों में दिल संबंधी मौतें अधिक होती हैं, क्योंकि रक्त वाहिकाएँ संकुचित हो जाती हैं और शरीर को गर्म रखने में दिल को अतिरिक्त मेहनत करनी पड़ती है।

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हार्ट अटैक की आशंका होने पर तुरंत उठाएं ये कदम

डॉ. तेजस्वी ने बताया कि यदि हार्ट अटैक की ज़रा-सी भी आशंका हो, तो समय न गंवाएँ और बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध होने तक एहतियात के तौर पर आवश्यक कदम तुरंत उठाएँ। इससे तत्काल राहत मिल सकती है और जोखिम कुछ हद तक कम होकर बेहतर उपचार के लिए महत्वपूर्ण समय मिल जाता है।

  • मरीज को आराम की स्थिति में बैठाएं और तंग कपड़े ढीले करें।
  • तुरंत एम्बुलेंस या नजदीकी अस्पताल से संपर्क करें।
  • चिकित्सकीय सलाह के अनुसार एस्पिरिन 300-325 मि.ग्रा. चबाकर दी जा सकती है।
  • आवश्यक होने पर नाइट्रोग्लिसरीन और हाई डोज स्टैटिन जल्द उपलब्ध कराएं।

WHO से एक गंभीर संदेश

WHO के आंकड़े बताते हैं कि अधिकांश CVD मौतों को पहले ही रोकना संभव है यदि जोखिम के कारकों—जैसे धूम्रपान, अस्वस्थ खानपान, मोटापा, शारीरिक निष्क्रियता, और उच्च रक्तचाप—पर नियंत्रण रखा जाए और बीमारी की प्रारंभिक पहचान और इलाज समय पर हो।

डॉ. दिवाकर तेजस्वी की अपील

डॉ. दिवाकर तेजस्वी ने कहा कि ठंड के मौसम में सीने के दर्द को कभी भी ‘सिर्फ गैस’ समझकर मामूली न लें। समय पर पहचान और त्वरित उपचार ही जीवन रक्षा का सबसे प्रभावी उपाय है।

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आप एक युवा पत्रकार हैं। देश के कई प्रतिष्ठित समाचार चैनलों, अखबारों और पत्रिकाओं को बतौर संवाददाता अपनी सेवाएं दे चुके अभय ने वर्ष 2004 में PTN News के साथ अपने करियर की शुरुआत की थी। इनकी कई ख़बरों ने राष्ट्रीय स्तर पर सुर्खियां बटोरी हैं।